नवंबर में होगी 1000 मेगावाट की नैयिंग जलविद्युत परियोजना की पर्यावरणीय जन सुनवाई

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ईटानगर, गुरुवार, 09 अक्टूबर 2025। एक हजार मेगावाट की उत्पादन क्षमता वाली नैयिंग जलविद्युत परियोजना की पर्यावरण जन सुनवाई अरुणाचल प्रदेश के शि-योमी जिले में 12 नवंबर को आयोजित की जाएगी। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। शि-योमी के उपायुक्त टुंगगे लोया ने बुधवार को एक परिपत्र में परियोजना से प्रभावित क्षेत्र के आम लोगों से 12 नवंबर को जिले के यापिक सामुदायिक हॉल में होने वाली इस सुनवाई में शामिल होने को कहा।

प्रस्तावित 1,000 मेगावाट की यह परियोजना सियोम (योमगो) नदी पर एक रन-ऑफ-द-रिवर परियोजना है, जिसे नॉर्थ ईस्टर्न इलेक्ट्रिक पावर कॉर्पोरेशन (नीपको) द्वारा कार्यान्वित किया जाएगा। एक कंक्रीट बांध, एक भूमिगत बिजलीघर और एक सुरंग सहित निर्माण कार्य 2028 के आसपास शुरू होने की संभावना है और परियोजना को 2032 तक चालू करने की योजना है। इस परियोजना से 4,966.77 जीडब्ल्यूएच बिजली पैदा होने की उम्मीद है।

 ⁠परियोजना को 2013 में केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण की सहमति मिली थी और निर्माण कार्य 2015 में शुरू होने की उम्मीद थी लेकिन पर्यावरण और सामाजिक चिंताओं ने इसमें बाधा डाली। परियोजना के लिए बड़ी वन भूमि के मार्ग परिवर्तन की आवश्यकता है और यह हजारों पेड़ों को प्रभावित करेगी। इसके अतिरिक्त इस परियोजना को बांधों और उनके पर्यावरण तथा सामाजिक प्रभावों से संबंधित चिंताओं को लेकर विरोध का भी सामना करना पड़ा था।

चांगलांग जिले के मियाओ में सात अक्टूबर को आयोजित ‘कैबिनेट आपके द्वार’ के दौरान, राज्य सरकार ने नीपको और अरुणाचल प्रदेश हाइड्रोपावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड के बीच संयुक्त उद्यम कंपनियां बनाने को मंजूरी दी थी। यह मंजूरी ‘हाइड्रो पावर का दशक’ (2025-35) के तहत राज्य के जलविद्युत अभियान को आगे बढ़ाने के लिए दी गई है। इसका लक्ष्य 19 जीडब्ल्यू क्षमता हासिल करना, निवेश आकर्षित करना, रोजगार सृजित करना और भारत के ‘नेट-जीरो’ लक्ष्यों में योगदान देना है।

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